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लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने बूंदी के 784वें स्थापना दिवस पर दी हाड़ौती वासियों को बधाई, कहा – “छोटी काशी है प्राकृतिक और सांस्कृतिक वैभव की धरोहर”

लोकसभा अध्यक्ष माननीय श्री ओम बिरला ने ऐतिहासिक नगरी बूंदी के 784वें स्थापना दिवस पर समस्त हाड़ौती क्षेत्र के निवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं दी हैं। अपने संदेश में उन्होंने बूंदी की गौरवशाली विरासत और उसके राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय महत्व को रेखांकित किया।

श्री बिरला ने बूंदी को “छोटी काशी” नाम से सुविख्यात बताते हुए कहा कि यह नगरी स्थापत्य कला, चित्रशैली और सांस्कृतिक वैभव की अनुपम धरोहर संजोए हुए है। उन्होंने विशेष रूप से “हाड़ी रानी की धरती”के रूप में बूंदी के वीरतापूर्ण इतिहास को याद किया।

लोकसभा अध्यक्ष ने जोर देकर कहा कि “बूंदी न केवल इतिहास की अमर गाथाओं को समेटे हुए है, बल्कि अपनी प्राकृतिक रमणीयता, अद्वितीय किलों, बावड़ियों और महलों के माध्यम से भारतीय संस्कृति की गरिमा को विश्व पटल पर प्रतिष्ठित करती है।”उन्होंने बूंदी को “वीरता, कलात्मकता और सत्कार भाव का संगम” बताया।

अपने संदेश के अंत में श्री बिरला ने ईश्वर से प्रार्थना करते हुए कहा, “यह पुण्यभूमि निरंतर प्रगति के पथ पर अग्रसर हो और यहां के लोग सुख, समृद्धि व सम्मान के साथ निरंतर उन्नति करें।”

बूंदी का गौरवशाली अतीत और वर्तमान


बूंदी राजस्थान के हाड़ौती अंचल का एक प्रमुख ऐतिहासिक, सांस्कृतिक एवं पर्यटन केंद्र है। इसकी स्थापना 1241 ईस्वी में राव देवा हाड़ा ने की थी। तारागढ़ का विशाल किला, सुप्रसिद्ध छत्रमहल, रानीजी की बावड़ी जैसे स्थापत्य चमत्कार और बूंदी शैली की अद्वितीय लघु चित्रकला इसकी पहचान हैं। “छोटी काशी” की उपाधि इसकी धार्मिक महत्ता को भी दर्शाती है।

लोकसभा अध्यक्ष के इस बधाई संदेश से स्थानीय नागरिकों और प्रशासन में खुशी की लहर है। माना जा रहा है कि इससे बूंदी की समृद्ध विरासत के संरक्षण और पर्यटन को बढ़ावा देने के प्रयासों को नई गति मिलेगी।

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Author: ainewsworld

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